झीरम घाटी केस में छत्तीसगढ़ शासन के हक में बड़ा फैसला आया है. मामले में बिलासपुर हाईकोर्ट ने NIA की अपील को खारिज कर दिया है. ऐसे में अब राज्य शासन की जांच एजेंसी जांच के लिए स्वतंत्र है.
दरअसल, झीरम घाटी कांड में जान गंवाने वाले कांग्रेस नेता के पुत्र जितेंद्र मुदलियार ने बस्तर में दूसरी एफआईआर कराई है. इसके खिलाफ NIA ने याचिका लगाई थी. NIA की यह याचिका निचले कोर्ट से खारिज हो गई थी. निचली अदालत से याचिका खारिज होने पर NIA ने HC में अपील की थी.
25 मई 2013 को छत्तीसगढ़ के बस्तर में नक्सलियों ने कांग्रेस की परिवर्तन यात्रा के काफिले पर हमला कर दिया था. इस नरसंहार में कांग्रेस के तत्कालीन प्रदेश अध्यक्ष नंदकुमार पटेल, पूर्व केंद्रीय मंत्री विद्याचरण शुक्ल, बस्तर टाइगर महेंद्र कर्मा और सुरक्षाबलों सहित 29 लोगों की मौत हो गई थी. इसमें कांग्रेस के 20 से ज्यादा नेता मारे गए थे. बताया जाता है कि बस्तर में रैली खत्म होने के बाद कांग्रेस नेताओं का काफिल सुकमा से जगदलपुर जा रहा था. काफिले में करीब 25 गाड़ियां थीं. जिनमें लगभग 200 नेता सवार थे.